लखनऊ। उत्तर प्रदेश में मौसम ने एक बार फिर करवट ली है। राज्य के कई जिलों में बदलते मौसम ने लोगों की दिनचर्या को प्रभावित किया है। फिलहाल यूपी में मानसून ने दस्तक दे दी है। जिससे कई जिलों में तेज गरज चमक के साथ भारी बरसात हुई भी है मगर कुछ जिलों में हल्की ही बरसात हुई है। पहाड़ों पर जोरदार बरसात के चलते यूपी के कई जिलों में बाढ़ जैसे भी हालात बन गए है। हालांकि बाढ़ से निपटने के लिए शासन प्रशासन ने अपनी तैयारियां भी करनी शुरू कर दी है मगर बादल से कालिमा हटने का नाम ही नहीं ले रही है।
एक ऐसी पंचायत जहां आज भी ग्रामीण शुद्ध पेय जल के लिए तरसते है और सिस्टम को कोसते है।
रविवार को यूपी के सीतापुर, बाराबंकी, उन्नाव, लखनऊ, बहराइच, हरदोई, लखीमपुर खीरी, शाहजहांपुर, बांदा, रायबरेली, देवरिया, संभल, शामली, बुलंदशहर, मथुरा, कौशांबी, प्रयागराज, रामपुर, झांसी, हापुड़, पीलीभीत, बरेली, महोबा आदि जिलों में सुबह से ही बादल छाए है। मौसम विभाग के अनुसार इन जिलों में तेज गरज चमक के साथ बरसात होने की संभावना जताई जा रही है तो वहीं इन जिलों में बिजली गिरने का भी खतरा बताया जा रहा है। जिसके चलते इन जिलों के लोगों को सतर्क रहने के लिए कहा गया है।
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फिलहाल बरसात के चलते नदियां उफान पर है और कई बाढ़ प्रभावित जिलों में नदियां कटान भी करने लगी है। यदि इसी तरह बरसात लगातार होती रही तो नदियों का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर चला जाएगा और बाढ़ का तांडव शुरू होगा जिससे किसानों की फसलें भी बर्बाद हो सकती है। फिलहाल शासन प्रशासन बाढ़ से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार है।
बीते वर्ष आई भीषण बाढ़ ने किसानों की कमर तोड़ दी थी जिसके दर्द से अब किसान नहीं उभर पाए है और कई जिलों में पुनः बाढ़ जैसे हालात बन गए है जिससे किसानों के माथे पर चिंता की सिमटन साफ तौर पर देखी जा सकती है।
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